
केंद्रीय मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री डॉ. सत्यपाल सिंह ने गुरुवार को अधिकारियों और नेताओं से अपने बच्चों को सरकारी स्कूलों में पढ़ाने की अपील की। उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूल और अस्पतालों की सेहत में तभी सुधार होगा जब अधिकारियों के बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ेंगे और वे अपने परिजनों का इलाज सरकारी अस्पतालों में करवाएंगे। डॉ. सिंह जनकपुरी स्थित सूरजमल स्मारक शिक्षा संस्था की ओर से 'ग्रामीण क्षेत्र में शिक्षा-वर्तमान स्थिति, चुनौतियां एवं समाधान' विषय पर आयोजित राष्ट्रीय विचार गोष्ठी में बोल रहे थे। उन्होंने देश के सभी सरकारी अफसरों और नेताओं से आह्वान करते हुए कहा कि वे सरकारी स्कूलों और अस्पतालों की हालत सुधारने में अपनी भूमिका का निर्वहन करें।
उन्होंने कहा, यह तभी संभव हो पाएगा जब अधिकारी, नेता, प्रभावी और उंचे पदों पर बैठे लोग अपने बच्चों को सरकारी स्कूलों में पढाएंगे और अपने परिजनों का इलाज सरकारी अस्पतालों में कराएंगे। गोष्ठी में डॉ. सत्यपाल सिंह के अलावा विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के पूर्व अध्यक्ष प्रोफेसर वेद प्रकाश, प्रवर्तन निदेशालय के पूर्व निदेशक कर्नल सिंह, विचार गोष्ठी समिति के अध्यक्ष कप्तान सिंह ने भी ग्रामीण क्षेत्र में शिक्षा की स्थिति पर अपने विचार रखे।
वक्ताओं ने कहा कि चंढीगढ़ में स्थानीय अफसरों के बच्चे सरकारी स्कूलों में पढते हैं, जिससे वहां स्कूलों की बुनियादी सुविधाएं बेहतर हुई है। इसके अलावा इन स्कूलों के परीक्षा परिणाम भी बेहतर हुए है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में अक्सर शिक्षक ड्यूटी से नदारद रहते हैं जो चिंतनीय है। इस अवसर पर संस्था की ओर से ग्रामीण क्षेत्रों के स्कूलों पर कराए सर्वेक्षण की रिपोर्ट की एक पुस्तिका का भी विमोचन भी किया किया।
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